कांग्रेस नेता शशि थरूर की नई किताब ‘द हिंदू वे: एन इंट्रोडक्शन टू हिंदुइज्म’ के विमोचन के दौर खुलकर बोले कर्ण सिंह
नई दिल्ली.
प्रभू श्रीराम तो दयालू थे फिर उनके भक्त इतने कठोर कैसे हो सकते हैं कि जो उनका नाम ना ले उसे वो पीट-पीटकर मार डाले। ये शर्मानाक है। जबर्दस्ती नारे लगवाने और फिर ना लगाने पर मार डालने जैसी घटनासे मैं आहत हूं। ये कहना है कांग्रेस के वरिष्ठ नेता कर्ण सिंह का।
कर्ण सिंह यहीं नहीं रूके उन्होंने कहा कि किसी निहत्थे को पीट-पीटकर मार देना और उससे जबर्दस्ती जय श्रीराम का नारा लगवाना केवल हिंदू धर्म ही नहीं बल्कि ईश्वर का भी अपमान है।
कर्ण ने ये बातें कांग्रेसी नेता शशि थरूर की नई किताब ‘द हिंदू वे: एन इंट्रोडक्शन टू हिंदुइज्म’ के विमोचन के दौरान कहीं।
झारखंड के मुस्लिम युवक की मौत का भी जिक्र किया
इस दौरान उन्होंने झारखंड के एक लिंचिंग के मामले का भी जिक्र किया। इसमें एक मुस्लिम युवक तबरेज अंसारी को खंभे से बांधकर पीटा गया था। युवक पर कथित रूप से पशु चोरी का आरोप लगाया गया और उससे जय श्रीराम के नारे लगाने को भी कहा।
हालांकि पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में अंसारी की मौत की वजह कार्डियक अरेस्ट बताई गई। मैंने वह क्लिप देखी। एक हिंदू होने के नाते इससे मैं आहत हुआ।

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पुस्तक विमोचन के बाद चर्चा के दौरान थरूर ने कहा, ‘‘लिंचिंग के नाम पर जो किया जा रहा है, वह हिंदू धर्म के मूल सिद्धांतों का प्रतिनिधित्व नहीं करता। एक विचारधारा के तहत जय श्रीराम का नारा लगाने को ही प्रमुखता दी जाती है, जबकि इसका भगवान श्रीराम से कोई लेना-देना नहीं है।
हमने तो बस राम की पूजा और प्रार्थना करना ही सीखा है। समस्या तब पैदा होती है, जब कुछ लोग धर्म के उदात्त आदर्शों के उलट व्यवहार करते हैं। हम खुद को हिंदू मानते हैं। हमें नहीं लगता कि वे हमारे लिए कुछ बोलते हैं।’ इस पुस्तक के विमोचन के बाद कर्ण सिंह के दिए बयान के राजनीतिक गलियारों में तरह-तरह के मायने लगाये जा रहे हैं।
