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अनुदान की राशि 12 अक्टूबर तक नहीं मिली तो वित्तरहित शिक्षक करेंगे धरना प्रदर्शन

&NewLine;<p>&&num;8211&semi; सदस्यों ने बताया कि 12 अक्टूबर तक अगर अनुदान राशि जो अनुदान समिति की बैठक में स्वीकृत है&comma; वह वित्तरहित संस्थाओं के खाते में नहीं गई तो 13 अक्टूबर को मुख्यमंत्री और मुख्य सचिव को इस संबंध में ज्ञापन सौंपा जाएगा<&sol;p>&NewLine;&NewLine;&NewLine;&NewLine;<p><strong>रांची &colon;<&sol;strong> वित्तरहित शिक्षक संघर्ष मोर्चा ने सरकारी नीतियों के विरोध में मोर्चा खोल दिया है। मोर्चा के सदस्यों ने बताया कि 12 अक्टूबर तक अगर वित्तीय वर्ष 2024-25 के बकाया अनुदान की राशि 12 प्रतिशत और 2024-25 की अनुदान राशि जो अनुदान समिति की बैठक में स्वीकृत है&comma; वह वित्तरहित संस्थाओं के खाते में नहीं गई तो 13 अक्टूबर को मुख्यमंत्री और मुख्य सचिव को इस संबंध में ज्ञापन सौंपा जाएगा और 15 अक्टूबर को राजभवन के सामने महा धरना देगा। बताया गया कि वित्तरहित संस्थाओं को वित्तीय वर्ष 2024-25 की बकाया 12 प्रतिशत की राशि जिसका भुगतान 31 मार्च तक ही हो जाना चाहिए था&comma; वह आज तक संस्थाओं के खाते में नहीं गई है जबकि राज्य के सरकारी कर्मचारी एवं अन्य कर्मचारियों का वेतन भुगतान हो गया है। राज्य के 600 वित्तरहित संस्थानों में कार्यरत 7000 से अधिक शिक्षक कर्मचारियों का दशहरा पर्व में भी अनुदान की राशि नहीं दी गई। जिस कारण राज्यभर के वित्तरहित शिक्षक कर्मचारी आर्थिक तंगी के चलते दशहरा पर्व नहीं मना पाए। बताया गया कि स्कूली शिक्षा एवं साक्षरता विभाग को 100 करोड़ रुपये वित्तीय वर्ष 2025-26 के लिए आ चुका है&comma; राशि की कोई कमी नहीं है लेकिन विभाग के कुछ पदाधिकारी जानबूझकर राशि नहीं भेज रहे हैं। वित्तीय वर्ष 2025-26 के अनुदान के लिए इस वर्ष आनलाइन आवेदन भरने का विभागीय निर्णय हुआ है और विभागीय पोर्टल बनकर तैयार है। लेकिन अब तक वित्तीय वर्ष 2024-25 की ही बकाया अनुदान की राशि संस्थाओं को नहीं भेजी गई है। बता दें कि राज्य के वित्तरहित शिक्षक लगभग चार लाख बच्चों को पढ़ा रहे हैं लेकिन समय पर अनुदान की राशि नहीं मिल रही है। सोमवार को वित्तरहित शिक्षक संघर्ष मोर्चा के वरीय सदस्यों की बैठक हुई। जिसमें सर्वसम्मति से निर्णय लिया गया कि अगर 12 अक्टूबर तक बकाया अनुदान की राशि का भुगतान नहीं किया गया तो 15 अक्टूबर को राजभवन के सामने महाधरना दिया जाएगा। बैठक में मुख्यमंत्री एवं मुख्य सचिव से इसकी उच्च स्तरीय जांच करने की मांग की गई। बैठक में रघुनाथ सिंह&comma; हरिहर प्रसाद कुशवाहा&comma; फजलुल कदीर अहमद&comma; कुंदन कुमार सिंह&comma; चंदेश्वर पाठक&comma; मनीष कुमार&comma; देवनाथ सिंह&comma; अरविंद सिंह&comma; गणेश महतो&comma; नरोत्तम सिंह&comma; संजय कुमार&comma; मनोज तिर्की&comma; विनय उरांव&comma; बिरसो उरांव&comma; मनोज कुमार&comma; मुरारी प्रसाद सिंह&comma; रेशमा बेक&comma; पशुपति महतो और रंजीत मिश्रा उपस्थित रहे।<br><strong>Maurya News18 Ranchi&period;<&sol;strong><&sol;p>&NewLine;

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